उगते सूर्य को अर्घ्य देने के साथ छठ व्रतियों ने तोड़ा 36 घंटे का निर्जला व्रत, चार दिन से चल रहे लोक आस्था के महापर्व छठ हुआ संपन्न

बिहार राज्य के मधेपुरा जिले में लोक आस्था के महापर्व छठ का समापन मंगलवार सुबह उगते सूर्य को अर्घ्य देने के साथ हो गया। जिले भर में श्रद्धालुओं ने बड़े हर्ष और उल्लास के साथ भगवान भास्कर की पूजा-अर्चना की। छठ व्रतियों ने 36 घंटे के निर्जला उपवास को पारण कर महापर्व का समापन किया। वहीं शहरी एवं ग्रामीण इलाकों तक हर जगह भक्ति और श्रद्धा का माहौल रहा। जगह-जगह छठ घाट बनाए गए थे, जहां महिलाओं और पुरुषों ने सूर्यदेव को अर्घ्य अर्पित किया। घाटों पर छठ गीतों की गूंज और व्रतियों की आस्था ने पूरे माहौल को पवित्र बना दिया। भीड़ को देखते हुए कई जगह एसडीआरएफ, आपदा मित्र और जिला पुलिस बल को सुरक्षा में लगाया गया था। प्रशासन ने कई जगहों पर ड्रोन कैमरों से घाटों की निगरानी की। जिला प्रशासन की ओर से डीएम तरनजोत सिंह और एसपी संदीप सिंह ने निरीक्षण किया और सुरक्षा व्यवस्था की लगातार मॉनिटरिंग की। ग्रामीण इलाकों में भी श्रद्धालुओं ने उगते सूर्य को अर्घ्य अर्पित किया। कई जगहों पर भगवान सूर्य की प्रतिमा स्थापित की गई और मुंडन संस्कार जैसे पारंपरिक कार्यक्रम आयोजित हुए। चार दिनों तक चलने वाला लोक आस्था और सूर्य उपासना का महापर्व छठ आज मंगलवार अहले सुबह उगते सूर्य को अर्घ्य देने के साथ पूर्ण श्रद्धा, आस्था और उत्साह के माहौल में संपन्न हुआ। घाटों पर छठ मइया के गीतों की गूंज और जय सूर्य देव के जयघोष से पूरा वातावरण भक्तिमय बना रहा। जल में खड़े होकर सूर्यदेव से संतान, परिवार और समाज की मंगल कामना करते व्रतियों की आस्था देखते ही बन रही थी। डीएम एवं एसपी के अलावे अपने अपने क्षेत्र में एसडीपीओ, बीडीओ, सीओ, थाना प्रभारी समेत दंडाधिकारी और पुलिस बल लगातार गश्त करते नजर आए। सुरक्षा, प्रकाश, साफ-सफाई और यातायात व्यवस्था के पुख्ता इंतज़ाम किए गए थे। वहीं कई जगहों पर छठ पूजा समिति सहित अन्य पूजा समितियों के सदस्य दिन-रात घाट की तैयारी और श्रद्धालुओं की सेवा में लगे रहे। कई जगहों पर समितियों की ओर से श्रद्धालुओं के बीच दूध, पान, प्रसाद और पेयजल का वितरण किया गया। साथ ही घाटों पर सफाई व्यवस्था, बिजली की रोशनी, रंग-बिरंगी सजावट और ध्वनि प्रसारण प्रणाली की बेहतर व्यवस्था की गई, जिससे श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो। पूरे आयोजन के दौरान समाजसेवियों और युवाओं की टीम भी सक्रिय रही। उन्होंने घाट पर आने-जाने वाले श्रद्धालुओं की सहायता की और महिलाओं एवं बच्चों की सुरक्षा पर विशेष ध्यान दिया। सूर्य देव को अर्घ्य अर्पण के साथ ही भक्ति, समर्पण और लोक आस्था का प्रतीक यह चार दिवसीय महापर्व सफलतापूर्वक संपन्न हुआ। श्रद्धालुओं के चेहरों पर जहाँ संतोष और शांति का भाव झलक रहा था, वहीं पूरे क्षेत्र में उत्सव, भक्ति और आध्यात्मिकता की अनोखी छटा बिखरी रही। अंत में क्षेत्रवासियों ने प्रशासन एवं छठ पूजा समिति के प्रति हार्दिक आभार व्यक्त किया। लोगों ने कहा कि प्रशासन और समिति की तत्परता व समन्वय के कारण इस वर्ष का छठ पर्व पूरी शांति, श्रद्धा और भव्यता के साथ सम्पन्न हुआ।

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